कतर में कैद भारतीय नौसेना के आठ पूर्व कर्मियों की कानूनी टीम को अपील करने का 60 दिन का समय मिलेगा. विदेश मंत्रायल का अनुसार, कतर की अपीलीय कोर्ट ने बीते माह जासूसी के कथित मामले में भारतीय नौसेना के आठ पूर्व कर्मियों की मौत की सजा को कम कर दिया था.
उन्हें अलग-अलग समय के लिए जेल की सजा सुनाई थी. यह निर्णय भारतीय नागरिकों के परिवारों के सदस्यों द्वारा एक अन्य कोर्ट के पहले के आदेश के विरुद्ध अपील दायर करने के कुछ सप्ताह बाद आया था. मीडिया में दिए बयान में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि कानूनी टीम के पास अदालत का आदेश है जो गोपनीय है. हालांकि, जायसवाल ने ये स्पष्ट बताया कि कर्मी अब मौत की सजा पर नहीं हैं.
उन्होंने कहा कि कतर की उच्चतम कोर्ट में मामले की अपील करने के लिए दो माह (60 दिन) का वक्त है. कानूनी टीम इस पर काम कर रही है. बीते माह एक बड़ी राहत मिली है. एक कोर्ट ने पूर्व नौसेना कर्मियों को दी गई मृत्यु की सजा को हटा दिया था.
आपको बता दें कि 26 अक्टूबर को कतर की प्रथम दृष्टया कोर्ट ने नौसेना के दिग्गजों को मौत की सजा दी गई थी. तब ये जानकारी प्राप्त हुई थी कि पूर्व भारतीय नौसेना कर्मियों को दी गई जेल की सजा तीन साल से 25 साल तक है. एक निजी कंपनी अल दहरा के लिए काम करने वाले भारतीय नागरिकों को कथित तौर पर जासूसी के एक मामले में बीते साल अगस्त में पकड़ा गया था। इस दौरान न तो कतर के अफसरों और न ही नई दिल्ली ने उनके खिलाफ आरोपों को सामने लाया गया.
कतर में कैद 8 पूर्व भारतीय नौसैनिकों को मिला 60 दिन का वक्त, विदेश मंत्रालय ने दिया ताजा अपडेट
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