नैनीताल में जिला पंचायत चुनावी प्रक्रिया के दौरान कांग्रेस ने ‘जिला पंचायत सदस्यों का अपहरण’ बताकर हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है—जिसके बाद चुनावी माहौल और गरमा गया है। इस घटना को लेकर कांग्रेस समर्थकों ने गहरी नाराजगी जताई है और संभावित चुनाव बहिष्कार की आशंका भी जताई जा रही है। इस मुद्दे ने पूरे क्षेत्र में राजनीतिक उथल-पुथल मचा दी है।
उत्तराखंड उच्च न्यायालय में सुनवाई के दौरान भाजपा और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के बीच गतिरोध और वाकयुद्ध देखने को मिला। हंगामे और आरोप-प्रत्यारोप ने चुनाव व्यवस्था की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े कर दिए हैं। फिलहाल, चुनावी प्रक्रिया की स्थिति अनिश्चित बनी हुई है और कई अध्यक्ष पदों पर निर्भय परिणाम का असर अनिश्चितता के घेरे में है ।
इस राजनीतिक टकराव की तिथि निर्दिष्ट नहीं है, लेकिन यह स्पष्ट है कि, यदि इस मुद्दे पर त्वरित समाधान नहीं निकलता—तो चुनाव अवरुद्ध रह सकते हैं या बहिष्कार के रूप में परिणाम सामने आ सकता है। न्यायालय की कार्रवाई और अगली सुनवाई की दिशा इस मामले का आगे का स्वरूप तय करेगी।