उत्तराखंड सरकार ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर 10–11 जुलाई 2025 को विशेष अभियान ‘ऑपरेशन कालनेमि’ की शुरुआत की। यह क़दम धार्मिक स्थलों एवं कांवड़ यात्रा के दौरान फर्जी साधुओं के खिलाफ उठाया गया, जो जनता की आस्था का दुरुपयोग कर ठगी व छल करते थे ।
इस अभियान में तीन दिनों के भीतर देहरादून से 25 फर्जी बाबाओं को गिरफ्तार किया गया, जिसमें एक बांग्लादेशी नागरिक भी शामिल है, जो बिना पहचान पत्र के भारत में रह रहा था । रविवार को पुलिस ने प्रदेश में अलग-अलग स्थानों से 34 और संदिग्ध साधुओं को पकड़ा, जिससे तीन दिनों में कुल 82 गिरफ्तारियों की संख्या हुई । इनमें से अब तक 44 व्यक्तियों को जेल भेजा गया है जबकि कई को मजिस्ट्रेट के सामने बयान के बाद जमानत मिली है।
इस अभियान के तहत पुलिस अधिकारियों ने 2,448 संदिग्ध साधुओं की पहचान कर पूछताछ की, और पुष्टि होने पर अधिक से अधिक अपराधियों पर कानूनी कार्रवाई की तैयारी की जा रही है । पुलिस का कहना है कि यह अभियान धार्मिक आस्था के नाम पर वार्षिक झूठे वादों एवं धोखाधड़ी करने वालों की पहचान कर उन्हें बेनकाब करने के लिए लगातार जारी रहेगा।