राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, 22 अप्रैल 2025 को कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले में पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI, पाकिस्तान सेना और आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (LeT) की मिलीभगत सामने आई है। इस हमले में 26 निर्दोष नागरिकों की जान गई थी, जिनमें अधिकांश पर्यटक थे।
NIA की रिपोर्ट के मुताबिक, हमले की योजना लश्कर-ए-तैयबा ने बनाई थी, जिसे ISI और पाकिस्तान सेना से सक्रिय समर्थन और दिशा-निर्देश प्राप्त हुए थे। दो प्रमुख संदिग्ध—हाशिम मूसा (जिसे सुलेमान भी कहा जाता है) और अली भाई (तल्हा भाई के नाम से भी जाना जाता है)—पाकिस्तानी नागरिक हैं, जो सीमा पार से लगातार संपर्क में थे और हमले की योजना, समय और क्रियान्वयन के लिए निर्देश प्राप्त कर रहे थे।
जांच में यह भी सामने आया कि हमलावर हमले से पहले कई सप्ताह तक क्षेत्र में सक्रिय थे और स्थानीय ओवरग्राउंड वर्कर्स (OGWs) से मदद प्राप्त कर रहे थे। इन OGWs ने उन्हें आश्रय, क्षेत्र का सर्वेक्षण और मूवमेंट में सहायता प्रदान की।
इस रिपोर्ट ने पाकिस्तान की राज्य-प्रायोजित आतंकवाद की नीति को एक बार फिर उजागर किया है, जिससे भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव और बढ़ गया है।