उत्तराखंड में हरेला पर्व के अवसर पर राज्य सरकार और स्थानीय समुदायों ने मिलकर 13 जिलों में 8.13 लाख से अधिक पौधे लगाए, जो एक ऐतिहासिक हरित अभियान साबित हुआ।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जैसे ही देहरादून के गोरखा मिलिट्री इंटर कॉलेज में रुद्राक्ष के पौधे का रोपण किया, वहीं राज्य के 2,400 स्थानों—including गाँव, स्कूल, आंगनवाड़ी, और सरकारी कार्यालयों—पर कार्यक्रम आयोजित हुए। इस पहल का सूत्रपात प्रधानमंत्री के “एक पेड़ माँ के नाम” कैंपेन से जुड़ा है, जरा सी श्रद्धा से अब जन-आंदोलन का रूप ले चुका है।
वन मंत्री सुबोध उनियाल ने बताया कि पिछले तीन वर्षों में पौधों का 80% तक बचाव दर रही है। कृषि एवं बागवानी विभाग ने 15 लाख फलदार पौधे लगाने की तैयारी की है। साथ ही पानी संरक्षण के माध्यम से 6,500 से अधिक जल सरोवर बनाए गए और 3.12 मिलियन क्यूबिक मीटर वर्षा जल संरक्षित किया गया।
यह अभियान उत्कृष्ट पर्यावरण–समाज मॉडल बन गया है और इसे “प्रकृति के प्रति जनता की जिम्मेदारी” के रूप में देखा जा रहा है।