महाराष्ट्र के परभणी में एक हैरान कर देने वाली घटना मंगलवार सुबह लगभग 6:30 बजे पाथरी–सेलु रोड पर हुई, जब एक 19 वर्षीय युवती ऋতिका ढेरे ने चलती स्लीपर बस में बेटे को जन्म दिया। बस में उसके साथ मौजूद व्यक्ति अल्ताफ शेख, जो पति होने का दावा कर रहा था, उन्होंने नवजात को कपड़े में लपेटकर खिड़की से बाहर फेंक दिया, जिससे बच्चा सड़क पर गिरकर तुरंत मौत को प्राप्त हुआ।
बस ड्राइवर ने बाहर फेंके गए वस्तु को देखा और जब पूछताछ की, तो शेख ने बताया कि उसकी पत्नी को बस की रफ्तार से उल्टी होने लगी थी। वहीं, एक जागरूक राहगीर ने उस कपड़े में लिपटे नवजात को देखा और तुरंत 112 पुलिस हेल्पलाइन पर सूचना दी।
पुलिस ने बस को रोककर ऋतिका और शेख को हिरासत में लिया। प्राथमिक पूछताछ में दंपति ने स्वीकार किया कि वे बच्चे को पालने में सक्षम नहीं थे, इसलिए उन्होंने यह क्रूर कदम उठाया।
दोनों पर भारतीय न्याय संहिता की धारा 94 (3), (5) के तहत मामला दर्ज किया गया है, जो नवजात को गुप्त रूप से नष्ट करने से जुड़ी है। फिलहाल, महिला को अस्पताल में भर्ती कराया गया है और मामले की आगे जांच जारी है।