दिल्ली उच्च न्यायालय ने शुक्रवार, 26 सितंबर 2025 को समीर वानखेड़े द्वारा दायर मानहानि याचिका पर सुनवाई की। वानखेड़े ने नेटफ्लिक्स की वेब सीरीज़ ‘The Ba***ds of Bollywood’ के निर्माताओं—शाहरुख़ ख़ान की कंपनी रेड चिलीज़ एंटरटेनमेंट और नेटफ्लिक्स—के खिलाफ ₹2 करोड़ की मानहानि का दावा किया है। उनका आरोप है कि इस सीरीज़ में एक पात्र को उनकी तरह दिखाया गया है, जो उन्हें नकारात्मक रूप में प्रस्तुत करता है। वानखेड़े का कहना है कि यह सीरीज़ जानबूझकर उनकी छवि को नुकसान पहुँचाने के लिए बनाई गई है, विशेष रूप से तब जब उनके और आर्यन ख़ान के बीच कानूनी मामले लंबित हैं।
सुनवाई के दौरान, न्यायमूर्ति पुरुषेन्द्र कुमार कौरव ने वानखेड़े के वकील से पूछा कि दिल्ली में इस याचिका की वैधता क्या है, क्योंकि सीरीज़ का प्रसारण दिल्ली में हुआ है और वहां के दर्शकों ने इसे देखा है। वानखेड़े के वकील संदीप सेठी ने तर्क प्रस्तुत किया कि दिल्ली में इस सीरीज़ को देखने के कारण उनकी छवि को नुकसान पहुँचा है। न्यायालय ने वानखेड़े से याचिका में आवश्यक संशोधन करने का निर्देश दिया और कहा कि जब तक संशोधित याचिका प्रस्तुत नहीं की जाती, तब तक अगली सुनवाई की तिथि निर्धारित नहीं की जाएगी।
वानखेड़े ने अदालत से अनुरोध किया है कि सीरीज़ के पहले एपिसोड के एक विशेष दृश्य को हटाया जाए, जिसमें एक पात्र उनके समान दिखता है और जो ‘सत्यमेव जयते’ का नारा लगाने के बाद आपत्तिजनक इशारा करता है। उनका कहना है कि यह कृत्य राष्ट्रीय सम्मान अधिनियम, 1971 का उल्लंघन करता है।