उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य में भर्ती प्रक्रियाओं की पारदर्शिता को प्राथमिकता बताते हुए कहा है कि भविष्य में किसी भी परीक्षा या भर्ती में अनियमितता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। हाल ही में UKSSSC की परीक्षा में पेपर लीक की घटना सामने आने के बाद हालात गर्म हो गए।
इस विवाद के बीच बेरोजगार संघ (Unemployed Union) ने परीक्षा रद्द करने के निर्णय का समर्थन करते हुए सरकार की प्रतिक्रिया की सराहना की है। युवा वर्ग ने इस कदम को एक भरोसेमंद संकेत माना कि सरकार उनकी आवाज सुन रही है।
प्रदेश सरकार ने इस मामले की निष्पक्ष जाँच सुनिश्चित करने के लिए एक विशेष जांच दल (SIT) और न्यायाधीश यू॰सी.ध्यानी की अगुवाई में जांच कमेटी का गठन किया है।
धामी ने यह भी भरोसा दिलाया कि सरकार अगले तीन महीनों के भीतर नयी परीक्षा आयोजित करेगी और उन अधिकारियों तथा अधिकारियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी, जिनके खिलाफ गड़बड़ी पाई जाएगी।
इस घटना ने भर्ती प्रक्रियाओं में पारदर्शिता और जवाबदेही को लेकर समाज में चर्चा को तेज कर दिया है। युवा वर्ग और असामयिक बदलाव चाहने वाले सभी वर्ग इस बात की निगाह रखे हैं कि इस बार सरकारी प्रक्रिया नि:संदेह और निष्पक्ष हो।