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जन्मदिन विशेष: 90 के दौर में कुमार सानू की आवाज का ‘जादू’ बॉलीवुड और प्रशंसकों में खूब छाया

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आज चर्चा की शुरुआत फिल्मी गानों से किया जाए. क्योंकि आज हम जिसके बारे में आपको बताने जा रहे हैं उनका संबंध ही ‘गायन’ से है. आइए कुछ गीतों की चंद लाइन सुनते हैं फिर आगे बात शुरू करते हैं. ‘अब तेरे बिन जी लेंगे हम’, ‘बस एक सनम चाहिए आशिकी के लिए’, ‘तू मेरी जिंदगी है’, मैं दुनिया भुला दूंगा’ ‘जिंदगी की तलाश में हम मौत के कितने पास आ गए’, ‘तुम्हें अपना बनाने की कसम खाई है’, ‘जब कोई बात बिगड़ जाए, कोई मुश्किल पड़ जाए तुम देना साथ मेरा’.

यह 90 के दौर की सुपरहिट फिल्मों के गाने हैं. यह गीत आपने भी गुनगुनाए और सुने होंगे. अब बात को आगे बढ़ाते हैं. 1987 करोड़ों गीत-संगीत के प्रशंसकों के लिए बहुत ही दुखद भरा साल रहा. इसी साल 13 अक्टूबर को महान गायक किशोर कुमार के निधन से एक ऐसी आवाज हमेशा के लिए ‘खामोश’ हो गई जिसकी भरपाई होना मुश्किल थी. कुछ समय बाद सदमे से उभरे प्रशंसक और बॉलीवुड किशोर दा की स्टाइल और आवाज की तलाश करने लगे. बंगाल पृष्ठभूमि से जुड़े एक ऐसे गायक ने किशोर कुमार के स्टाइल और उनकी मिलती-जुलती आवाज की हिंदी फिल्म इंडस्ट्रीज में दस्तक दी.

साल 1990 आते-आते इनकी मधुर आवाज देश के कोने-कोने में गूंजने लगी. कुछ ही समय में इनकी आवाज सिने प्रेमियों और श्रोताओं की जुबान पर चढ़ गई. जी हां आज हम बात कर रहे हैं 90 दौर के बॉलीवुड के सबसे सुपरहिट गायक कलाकार कुमार सानू की. इनकी आवाज का जादू बड़े शहरों से निकलकर छोटे शहरों और गांव-गांव तक फैल गया.

‘कई फिल्में ऐसी रही जिसमें कुमार सानू ने गीतों को अपनी आवाज दी और सुपरहिट हो गईं. समीर के गीत, नदीम-श्रवण का संगीत और कुमार सानू की आवाज का ऐसा डंका बजा जिसने एक दशक तक बॉलीवुड में ‘एकछत्र’ राज किया’. ‌इसके साथ कुमार सानू ने अलका याग्निक के साथ मिलकर कई सुपरहिट गीतों को गाया. आज जन्मदिवस पर आइए जानते हैं कुमार सानू के गीत-संगीत के सफर और उनकी निजी जिंदगी के बारे में.

एक दिन में 28 गाने रेकॉर्ड करवाने का कुमार सानू के नाम कीर्तिमान है—

बता दें कि कुमार सानू के नाम एक दिन में 28 गाने रेकॉर्ड करवाने का कीर्तिमान भी है. 350 फिल्मों और 17 हजार से अधिक गाने कुमार सानू ने गाए हैं. सानू ने साल 2004 में बीजेपी ज्वाइन कर ली. मगर बाद में यह कहकर इस्तीफा दे दिया कि वह सिर्फ सिंगिंग पर ही फोकस करना चाहते हैं.

गौरतलब है कि 2009 में भारत सरकार ने उन्हें ‘पदमश्री’ से सम्मानित किया. 90 के दौर में कुमार सानू का शुरू हुआ गानों का सिलसिला करीब 20 वर्षों तक चलता रहा. पिछले एक दशक से बॉलीवुड में नए गायक कलाकार आने की वजह से कुमार सानू की आवाज का जादू फीका पड़ने लगा. हालांकि आज भी वह कई फिल्मों में गाने गा रहे हैं. हाल के कुछ वर्षों में वे टीवी शो इंडियन आइडल आदि शो में होस्ट के तौर पर दिखाई देते हैं.

शंभू नाथ गौतम, वरिष्ठ पत्रकार

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