जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 मई को हुए आतंकी हमले को लेकर अब तक का सबसे बड़ा खुलासा हुआ है. जी हां इस आतंकी हमले के बाद भारत ने जहां ऑपरेशन सिंदूर के जरिए पाकिस्तान में मौजूद 9 आतंकी ठिकानों को तबाह किया था. वहीं अब भारत ने इस हमले में पाकिस्तानी साजिश का सबूतों के साथ जी हां सबूत नहीं बल्कि सबूतों के साथ पर्दाफाश किया है. संसद के मानसून सत्र में ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के दौरान केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने अपने संबोधन में न सिर्फ पहलगाम हमले के पीछे रची गई साजिश का पर्दाफाश किया बल्कि पाकिस्तान की पूरी पोल उन्होंने सबूतों के साथ खोली है.
दरअसल भारत ने पहलगाम आतंकी हमले के आतंकियों को 96 दिन बाद पहलगाम के पास श्रीनगर के लिडवास में मार गिराया. इन तीन आतंकियों में हाशिम मूसा सुलेमानी, जिब्रान और हमजा अफगानी प्रमुख रूप से शामिल थे. खास बात यह है कि ये तीनों ही पहलगाम आतंकी हमले में शामिल थे. मूसा ने इस हमले की साजिश रची. लेकिन मूसा को ये टारगेट सीमा पार पाकिस्तान से मिला था.
ऑपरेशन महादेव के जरिए भारतीय सेना ने इन तीनों आतंकियों को मार गिराया. अमित शाह ने बताया ऑपरेश महादेव की टाइमलाइन तो बताई ही साथ ही ये भी बताया कैसे पाकिस्तान पहलगाम हमले का सूत्रधार था. उन्होंने बताया कि जो तीनों आतंकी ऑपरेशन महादेव में मारे गए. उन तीनों के पास से जो सामग्री बरामद की गई है वह मेड इन पाकिस्तान है.
इसमें चॉकलेट से लेकर उनके वोटर आइडी तक सबकुछ पाकिस्तान के हैं. आतंकियों के ये सामान बताते हैं कि उनका सीधा कनेक्शन पाकिस्तान से था. हाशिम ने भी पाकिस्तान में ही कमांडो लेवल की ट्रेनिंग ली और इसके बाद वह लश्कर ए तैयबा में शामिल हुआ था.
अमति शाह ने साफ तौर पर कहा कि हमने पहलगाम आतंकी हमले में शामिल तीनों आतंकियों को दोबारा पाकिस्तान भागने का मौका नहीं दिया. उन्होंने कहा सेना के जवानों ने इन तीनों को मौत के घाट उतार दिया. उनके पास मिली राइफल से निकले खोखे और अन्य सामान बताते हैं कि उनका सीधा कनेक्शन पाकिस्तान से है. शाह ने साफ किया है ऑपरेशन सिंदूर और ऑपरेशन महादेव भारत की जीरो टॉलरेंस नीति का प्रतीक है.