दक्षिण कश्मीर के कुलगाम जिले में सुरक्षा बलों द्वारा 1 अगस्त से चलाया गया ऑपरेशन अकाल 12 दिनों बाद समाप्त हो गया। इस अवधि में आतंकियों का कोई सुराग नहीं मिला, जिससे सुरक्षा एजेंसियों की व्यापक सर्च और गहन जांच निरर्थक साबित हुई। हालांकि, इस दौरान कोई ताज़ा गोलीबारी नहीं हुई और शांति बनी रही।
इस ऑपरेशन को विशेष खुफिया सूचना के आधार पर खल्सन के घने जंगलों में शुरू किया गया था, जहाँ लगभग 5–6 heavily armed आतंकियों के छिपे होने की आशंका जताई गई थी।
इस उपलब्धि के बावजूद, ऑपरेशन में दो बहादुर जवान—लांस नायक प्रीतपाल सिंह और सिपाही हरमिंदर सिंह—की शहादत दर्ज की गई। कुल मिलाकर करीब दस जवान घायल also हुए।