17 अक्टूबर 2025 को छत्तीसगढ़ के जगदलपुर में एक ऐतिहासिक घटना घटी, जब 210 नक्सलियों ने मुख्यमंत्री विश्नु देव साय की उपस्थिति में आत्मसमर्पण किया। इन नक्सलियों ने भारतीय संविधान की प्रति और गुलाब का फूल लेकर हिंसा का मार्ग छोड़ने का संकल्प लिया। इस आत्मसमर्पण में एक केंद्रीय समिति सदस्य, दंडकारण्य विशेष क्षेत्रीय समिति के चार सदस्य, 21 क्षेत्रीय समिति सदस्य और 61 क्षेत्रीय समिति सदस्य शामिल थे।
आत्मसमर्पण करने वालों ने कुल 153 हथियार, जिनमें 19 AK-47 राइफल, 17 SELF-LOADING राइफल, 23 INSAS राइफल, एक INSAS LMG, 36 .303 राइफल, 4 कार्बाइन और 11 बैरल ग्रेनेड लांचर शामिल थे, सुरक्षा बलों को सौंपे।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस आत्मसमर्पण को नक्सलवाद के खिलाफ एक महत्वपूर्ण सफलता बताते हुए अबूझमाड़ और उत्तर बस्तर को नक्सल मुक्त घोषित किया। उन्होंने कहा कि यह घटना नक्सलवाद के अंत की ओर एक बड़ा कदम है।
यह आत्मसमर्पण राज्य सरकार की पुनर्वास नीति और सुरक्षा बलों की निरंतर प्रयासों का परिणाम है, जो क्षेत्र में शांति और विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हो रहा है।